*महाकुंभ भगदड़ पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई आज:दोषी अफसरों पर कार्रवाई की मांग; श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए जारी हो सकती है गाइडलाइन*
*महाकुंभ भगदड़ पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई आज:दोषी अफसरों पर कार्रवाई की मांग; श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए जारी हो सकती है गाइडलाइन*
*सुधा श्रीवास्तव -प्रयागराज*
प्रयागराज । महाकुंभ भगदड़ को लेकर दाखिल जनहित याचिका पर सुप्रीम कोर्ट आज सुनवाई करेगा। याचिका में श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए दिशा-निर्देश देने और नियमों का पालन कराने की मांग की गई है।याचिका में केंद्र और सभी राज्यों को पक्षकार बनाया गया है। मौनी अमावस्या पर 28/29 जनवरी की रात करीब डेढ़ बजे संगम नोज पर भगदड़ मच गई थी। भीड़ ने लोगों को कुचल दिया था। सरकार के मुताबिक, 30 लोगों की मौत हुई और 60 घायल हो गए थे।चीफ जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस संजय कुमार की पीठ मामले की सुनवाई करेगी। सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता विशाल तिवारी ने 31 जनवरी को याचिका लगाई थी। उन्होंने भगदड़ की घटनाओं को रोकने और संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत समानता और जीवन के मौलिक अधिकारों की रक्षा की मांग की गई है।याचिका में सुप्रीम कोर्ट से ये मांग श्रद्धालुओं की मदद के लिए महाकुंभ में विभिन्न भाषाओं में साइन बोर्ड लगाए जाएं।सभी राज्यों को अपने सुविधा केंद्र बनाना चाहिए, ताकि इमरजेंसी में राज्य अपने लोगों की मदद कर सके।इमरजेंसी में मदद के लिए तैयार रहें, सुरक्षा प्रोटोकॉल के बारे में एसएमएस और वॉट्सऐप के जरिए जानकारी दी जानी चाहिए।वीआईपी मूवमेंट से आम श्रद्धालुओं की सुरक्षा प्रभावित न हो, उनके लिए कोई खतरा पैदा न हो।महाकुंभ में श्रद्धालुओं के आने और बाहर निकलने के लिए कई रास्ते बनाए जाने चाहिए।भगदड़ घटना की रिपोर्ट पेश की जाए। लापरवाही बरतने वाले व्यक्तियोंअधिकारियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू की जाए।डॉक्टरों और नर्सों की पर्याप्त व्यवस्था याचिका में कहा गया कि कार्यक्रम स्थल पर डॉक्टरों और नर्सों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार और अन्य राज्यों के बीच समन्वय की आवश्यकता है।संगम तट पर रात डेढ़ बजे मची थी भगदड़ महाकुंभ में 28 जनवरी की देर रात करीब 1:30 बजे संगम नोज इलाके में भगदड़ हुई। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 30 लोगों की मौत हुई है और 60 लोग घायल हैं। महाकुंभ नगर के पुलिस उपमहा निरीक्षक (डीआईजी) वैभव कृष्ण ने बताया कि प्रयागराज महाकुंभ में मौनी अमावस्या पर मुख्य स्नान था। ब्रह्म मुहूर्त से पहले, देर रात एक से दो बजे के बीच, मेला क्षेत्र के अखाड़ा मार्ग पर भारी भीड़ जमा हो गई।भीड़ के दबाव के कारण दूसरी ओर के बैरिकेड्स टूट गए। बैरिकेड्स तोड़कर दूसरी ओर पहुंचे लोगों ने ब्रह्म मुहूर्त के स्नान का इंतजार कर रहे श्रद्धालुओं को कुचलना शुरू कर दिया। उन्होंने बताया कि इसके बाद मेला प्रशासन ने तुरंत एक मार्ग बनाकर एम्बुलेंस की मदद से 90 लोगों को अस्पताल पहुंचाया,जिनमें से 30श्रद्धालुओं की मौत हो गई।प्रयागराज महाकुंभ में संगम तट मंगलवार और बुधवार की आधी रात को हुई भगदड़ में 35 से 40 लोग मारे गए हैं। हादसे के 17 घंटे बाद उत्तर प्रदेश सरकार ने 30 लोगों की मौत की पुष्टि की।
शाम 6.30 बजे मेला अधिकारी विजय किरण आनंद और DIG वैभव कृष्णा ने 3 मिनट की प्रेस कॉन्फ्रेंस की। DIG वैभव कृष्ण ने कहा-भगदड़ में 30 श्रद्धालुओं की मौत हुई। 60 लोग घायल हैं। 25 शवों की पहचान कर ली गई है।