21 वे दिन सारनाथ से रामकोला के पपउर पहुंची धम्मचारिका पदयात्रा: नगर पंचायत अध्यक्ष ने नगर की सीमा पर किया जोरदार स्वागत।
21 वे दिन सारनाथ से रामकोला के पपउर पहुंची धम्मचारिका पदयात्रा:
नगर पंचायत अध्यक्ष ने नगर की सीमा पर किया जोरदार स्वागत।
धनंजय पाण्डेय
रामकोला, कुशीनगर।16 नवंबर से सारनाथ से देवदह होते हुए कुशीनगर तक धम्मचारिका यात्रा शनिवार को नगर पंचायत रामकोला के वार्ड नंबर एक अंबेडकर(पपउर) में पहुंच गई। इसमें सैकड़ों बौद्ध भिक्षु और बौद्ध धर्मावलंबी शामिल हैं। जगह-जगह बौद्ध भिक्षुओं का अभूतपूर्व स्वागत किया गया।
शुक्रवार को कुशीनगर जनपद के कप्तानगंज होते हुए शनिवार को नगर पंचायत रामकोला पहुंची।नगर की सीमा पर नगर पंचायत अध्यक्ष सुनीता चौधरी अपने पति शतीश चौधरी के साथ मिल कर स्वागत किया।जहा भिक्षु चन्दिमा थेरो के नेतृत्व में चल रही धम्म चारिका पदयात्रा में 150 बौद्ध भिक्षुओं को सैकड़ों की संख्या में लोग एन एच 730 के किनारे खड़े हो कर फूल देकर स्वागत किए। धम्म चारिका पदयात्रा 11बजे दिन में पपउर बुद्ध बिहार पर पहुंची और भगवान बुद्ध की पूजा और बुद्ध बिहार के प्रांगण। बुद्धा हाल का शिलान्यास किया उसके बाद अंबेडर पार्क में भोजन दान एवं धम्म देशना के बाद चली धम्म चारिका यात्रा अपने अंतिम पड़ाव कुशीनगर के लिए चल पड़ी।यह धम्मचारिका आठ दिसंबर को कुशीनगर में समाप्त होगी।
बताते चले 16 नवंबर से धम्मचारिका (पदयात्रा) शुरू हुई है जो कुशीनगर में जाकर समाप्त होगी। इस पदयात्रा में 500 किलोमीटर की यात्रा पैदल तय करेंगे।इस दौरान रास्ते में पड़ने वाले गांव में बौद्ध के संदेश को आम जन तक पहुंचाएंगे।